संवाददाता प्रदीप कुमार शर्मा

उत्तर प्रदेश के गाजीपुर जनपद में केंद्र सरकार की महत्वपूर्ण योजना आवास प्लस–2024 के तहत चल रहे सेल्फ सर्वे कार्य में लापरवाही बरतने पर बड़ी कार्रवाई की गई है। परियोजना निदेशक राजेश यादव ने कार्य में शिथिलता बरतने वाले सात ब्लॉक विकास अधिकारियों (बीडीओ) का वेतन रोकने के आदेश दिए हैं। इस निर्णय से प्रशासनिक महकमे में हलचल मच गई है और अधिकारियों में तनाव का माहौल है।

ये हैं वे बीडीओ जिन पर कार्रवाई हुई:
- सादात
- जखनियां
- मरदह
- जमानियां
- मनिहारी
- सैदपुर
- देवकली
परियोजना निदेशक का सख्त रुख
राजेश यादव ने जानकारी दी कि इन ब्लॉकों में लगातार निर्देशों के बावजूद सर्वे कार्य में अपेक्षित प्रगति नहीं हो रही थी। अधिकारियों को कई बार चेतावनी दी गई, लेकिन जब स्थिति में सुधार नहीं हुआ, तब यह कठोर कदम उठाना पड़ा। उन्होंने स्पष्ट कहा कि यह कार्रवाई लाभार्थियों को समय पर योजना का लाभ दिलाने और पारदर्शिता बनाए रखने के लिए की गई है।

फील्ड सर्वेयरों पर भी निगाह
अब परियोजना निदेशक सर्वे कार्य में लगे फील्ड सर्वेयरों की भी गहन समीक्षा कर रहे हैं। यदि उनके स्तर पर भी लापरवाही या अनियमितता पाई गई, तो उनके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी।
क्या है आवास प्लस–2024?
आवास प्लस–2024 योजना केंद्र सरकार की प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) का एक विस्तार है। इसके तहत उन जरूरतमंद परिवारों की पहचान की जाती है, जो अभी तक किसी कारणवश योजना से वंचित रह गए थे। सेल्फ सर्वे के माध्यम से पात्र लाभार्थियों को सूचीबद्ध कर उन्हें पक्का मकान प्रदान किया जाता है।
निष्कर्ष
गाजीपुर में हुई यह कार्रवाई साफ संकेत देती है कि सरकार की प्राथमिक योजनाओं के कार्यान्वयन में लापरवाही अब बर्दाश्त नहीं की जाएगी। प्रशासन का यह कदम अन्य अधिकारियों के लिए भी चेतावनी है कि यदि समयबद्ध और जिम्मेदार ढंग से कार्य नहीं किया गया तो कड़ी अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी।